Nainital News: मां के जयकारों से गूंजी नन्दा सुनंदा की डोला,उमड़ा भक्तों का जनसैलाब-देखे VIDEO आप भी करें दर्शन

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नैनीताल में मां नंदा–सुनंदा महोत्सव का समापन आस्था और भक्ति के रंगों के साथ हुआ. अंतिम दिन मां नैना देवी मंदिर से 12 बजे पारंपरिक डोला यात्रा निकाली गई. सरोवर नगरी नैनीताल मां के जयकारों से गूंज उठा, मां नंदा–सुनंदा महोत्सव का समापन भक्तों की आस्था और उल्लास के बीच हुआ. मां की भक्ति में सराबोर रहा और भक्त अगले वर्ष फिर मां के जयकारों की प्रतीक्षा में विदा हुए. मंदिर परिसर से शुरू हुई डोला यात्रा मल्लीताल, लोअर माल रोड, तल्लीताल बाजार और चीना बाबा मंदिर होते हुए वापस नैना देवी मंदिर तक पहुंचा. भक्त मां को विदा करने नाच-गाकर, जयकारों के साथ शामिल हुए. धार्मिक संस्था राम सेवक सभा नैनीताल की ओर से 123वें नंदा देवी महोत्सव के नौ दिवसीय अनुष्ठान के साथ शुक्रवार को नंदा-सुनंदा की भव्य शोभायात्रा निकाली गई।

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सुबह देवी पूजन तथा 12 बजे देवी भोग के बाद शोभायात्रा की शुरूआत ही। सबसे पहले मां नंदा सुनंदा के डोले ने मां नयना देवी मंदिर की परिक्रमा की। इसके बाद विभिन्न देवी देवताओं के दर्शन के बाद डोले के मंदिर से बाहर निकाला गया। इसके बाद मॉलरोड समेत तल्लीताल व मल्लीताल विभिन्न बाजारों में घुमाने के बाद सायं 6.30 बजे अश्रुपूरित नेत्रों के साथ गोलू देव मंंदिर के समक्ष झील में विसर्जित कर दिया जएगा। शोभायात्रा में लखिया भूत, छोलिया दल आदि आकर्षण बने हुए हैं। छह से अधिक स्थानों पर माता के पूजन तथा 12 से अधिक स्थानों पर भंडारे की तैयारी है। नौ दिनों तक राम सेवक सभा व तल्लीताल डांठ में सांस्कृतिक कार्यक्रम हुए। सीधे प्रसारण में भक्ति व ज्ञान की बयार बही। पुलिस के साथ ही नन्हें स्काउट तथा गाइड ने मेले में सुरक्षा की कमान संभाली। मेला प्रभारी एसडीएम केएन गोस्वामी तथा एसपी डॉ.जगदीश चंद्रा के नेतृत्व मे पुलिस टीम सुरक्षा में तैनात हैं। सीसीटीवी से भी शोभायात्रा में नजर रखी जा रही है। कूड़ा प्रबंधन के लिए नगर पालिका का कूड़ा वाहन भी पीछे तैनात है।कुमाऊं के विभिन्न शहरों से आए बैंड-बाजों और छोला नृत्य दलों ने भक्तिमय प्रस्तुतियों से माहौल को और भी भव्य बना दिया.

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सुबह से ही भक्तों का जनसैलाब मंदिर में उमड़ पड़ा. मां के दर्शन और विदाई के लिए नैनीताल ही नहीं, बल्कि हल्द्वानी, रामनगर, काशीपुर और रुद्रपुर से भी हजारों की संख्या में भक्त पहुंचे. नगर के अलावा विभिन्न क्षेत्रों से आए बैंड कलाकारों और पारंपरिक छोलिया नर्तकों ने शानदार प्रस्तुति दी.

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इस वर्ष महोत्सव का विशेष आकर्षण रहा पिथौरागढ़ से आई सांस्कृतिक टीम का लखिया भूत नृत्य. पारंपरिक वेशभूषा और लोकधुनों से सजी इस प्रस्तुति ने दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया. नंदा देवी महोत्सव में जिला पर्यटन विकास विभाग की ओर से लाखिया भूत की नाट्य प्रस्तुति कराई गई. नाटक का नेतृत्व कर रहे कैलाश जोशी ने बताया की लखिया भूत को देवी का रक्षक माना जाता है, जिसके लिए उसे डोले के आगे भ्रमण कराया जाता है. पिथौरागढ़ में लखिया भूत को नेपाल से लाया गया था, जिसे पिथौरागढ़ के मेयर लोगों को नेपाल के राजा ने तोहफे में दिया. वह वापस नेपाल ना चले जाए उसे बांध कर रखा जाता है.

स्थानीय लोगों के साथ ही नैनीताल के आसपास के इलाकों में नन्दा देवी डोले को लेकर काफी उत्साह देखा गया, स्थानीय सभासद जितेंद्र पांडे जीनू बताते है कि लोगों में काफ़ी उत्साह भरा हुआ है. शहर ही नही शहर के आसपास के क्षेत्र के लोग भी माँ नंदा देवी के डोले के दर्शन करने के लिए यहां पहुंचे हुए हैं. स्थानीय निवासी आभा साह बताती है मां नंदा सुनंदा त्यौहार साल में एक बार आता है जिसको लेकर काफ़ी इंतजार रहता है. माँ नंदा देवी के दर्शन के इंतजार करना पड़ता है. स्थानीय निवासी दीपा रौतेला बताती है मां नंदा देवी महोत्सव का सालभर से बेसब्री से इंतजार रहता है. उन्होंने बताया कि सुबह बारिश के चलते भी अभी मौसम सुहावना बना हुआ है जिससे लाखों श्रद्धालु दर्शन के लिए पहुंचे हैं. दुःख भी है माँ को पहले लाते है कर विदाई भी की जा रही है. स्थानीय निवासी डोलमा गुरूरानी बताती है माँ के दर्शन के लोगों में काफ़ी उत्साह है. दर्शन के लिए जनसैलाब उमड़ा हुआ है. अब अगले वर्ष का इंतजार करना पड़ेगा माँ के दर्शन के लिए.

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